ई-काॅमर्स कंपनियों के खिलाफ कैट का हल्ला बोल, दिल्ली पहुंचे प्रमुख व्यापारी नेता

दिल्ली, 10 सितम्बर – देश के ई-काॅमर्स (e-commerce) व्यापारियों के बीच विदेशी ई-काॅमर्स कम्पनियों द्वारा नियमों का उल्लंघन करने पर आक्रोश बढ़ता जा रहा है. व्यापारियों ने अपनी आवाज बुलंद करने के साथ ही उपभोक्ता कानून के नियमों को तत्काल लागू करने की सरकार से मांग को लेकर दिल्ली में एक बैठक आयोजित की गई. CAIT की इस बैठक में राज्यों के प्रमुख व्यापारी नेताओं ने विदेशी ई-कॉमर्स कंपनियों की कड़ी आलोचना करते 15 सितम्बर से देश भर में एक महीने तक हल्ला बोल अभियान चलाने की घोषणा की.

सम्मेलन में देश के 27 राज्यों के लगभग 100 से अधिक व्यापारी नेताओं ने भाग लिया. सम्मेलन में यह निर्णय लिया गया की इस अभियान के अंतर्गत देश के सभी राजनैतिक दलों को कैट पत्र भेजकर यह स्पष्ट करने को कहा जाएगा की ई-कॉमर्स को लेकर उनकी पार्टी का क्या नजरिया है. सभी दलों के जवाब का देश के व्यापारी इंतजार करेंगे और इस वर्ष होने वाले विधानसभा चुनावों तथा आगामी लोकसभा चुनावों में व्यापारियों की क्या भूमिका होगी, इस पर समय पर निर्णय लिया जाएगा. उन्होंने कहा की जब सब कुछ वोट बैंक पर ही केंद्रित हो गया है तो अब व्यापारी भी अपने आपको एक वोट बैंक में बदलने से नहीं चूकेंगे.

विदिशा चेंबर्स आॅफ कॉमर्स उपाध्यक्ष मनीष लश्करी ने बताया की विदेशी ई काॅमर्स कंपनियां ईस्ट इंडिया कंपनी के रूप में काम कर रही हैं जिससे देश के रिटेल बाजार, ई कॉमर्स व्यापार सहित देश की अर्थव्यवस्था पर बुरा विपरीत प्रभाव पड़ रहा है. भारत का व्यापार भारत में ही रहना चाहिए और उसका लाभ भी देश के उपभोक्ताओं, व्यापारियों एवं उद्योग को मिलना चाहिए, इस दृष्टि से सम्मेलन ने यह निर्णय लिया है की यह एक बड़ी लड़ाई है और किसी भी विदेशी कम्पनी को ईस्ट इंडिया कम्पनी बनने से रोकने में देश के सभी वर्गों को अब एक मंच पर लाना जरूरी है तभी देश के ई कॉमर्स एवं रिटेल व्यापार को इन विदेशी कंपनियों के कुटिल चंगुल से बचाया जा सकता है.

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